उत्तराखंड में मौसम के तेवर तल्ख हो गए हैं। पहाड़ से मैदान तक बादलों ने डेरा जमा लिया है और सुबह से ही चोटियों पर हिमपात, निचले इलाकों में रिमझिम वर्षा का सिलसिला चलता रहा। जिससे पारे में भारी गिरावट दर्ज की गई जिससे और भी ज्यादा ठिठुरन बढ़ गई। दरअसल मसूरी में सर्वाधिक 12 मिमी वर्षा हुई। वहीं, दून में एक ही दिन में पारे में 10 डिग्री सेल्सियस की कमी दर्ज की गई। मौसम विभाग के अनुसार, आज भी प्रदेश भर में बादल छाए रहने का अनुमान जताया गया है। छह जिलों में भारी वर्षा व बर्फबारी को लेकर आरेंज अलर्ट जारी किया गया है। आपको बता दें कि बारिश और बर्फबारी के अलावा कहीं-कहीं गरज-चमक के साथ तीव्र बौछारें और ओलावृष्टि पड़ने की आशंका भी मौसम विभाग ने व्यक्त की हैं। गुरुवार को सुबह से ही प्रदेशभर में घने बादल मंडराते रहे और दून समेत कई क्षेत्रों में सुबह से ही हल्की वर्षा का दौर चलता रहा और मसूरी में दिनभर रिमझिम वर्षा होती रही। वहीं, पर्वतीय क्षेत्रों में बूंदाबांदी के साथ चोटियों पर हिमपात के दो से तीन दौर हुए।
हालांकि, बर्फबारी के कारण यातायात मार्ग अवरुद्ध होने की कोई सूचना नहीं है। लेकिन, मौसम के बदले मिजाज से ज्यादातर क्षेत्रों में ठंड लौट आई है। पिछले कुछ दिनों से प्रदेश के ज्यादातर क्षेत्रों में चटख धूप खिलने के कारण पारा तेजी से चढ़ रहा था, जिसमें गुरुवार को भारी गिरावट दर्ज की गई। ज्यादातर क्षेत्रों में अधिकतम तापमान एक दिन में आठ से 10 डिग्री सेल्सियस तक कम रहा, जो कि सामान्य से भी चार से छह डिग्री सेल्सियस नीचे है। मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह के अनुसार, आज प्रदेश में वर्षा-बर्फबारी का क्रम जारी रह सकता है। टिहरी, उत्तरकाशी, चमोली, रुद्रप्रयाग, पिथौरागढ़ और बागेश्वर में 2800 मीटर से अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में भारी हिमपात और निचले इलाकों में भारी वर्षा के आसार हैं। जिसे लेकर ऑरेंज अलर्ट भी जारी किया गया है। साथ ही , देहरादून समेत शेष जनपदों में कहीं-किहीं भारी वर्षा, गर्जन के साथ आकाशीय बिजली चमकने और ओलावृष्टि होने को लेकर यलो अलर्ट है।